किसान समाचार: फसलों पर बारिश ओलावृष्टि के बाद अब कीट ने किया अटैक, देखें फसलों को कीट से कैसे बचाएं

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मध्य प्रदेश के किसानों की आफत कम होने का नाम नहीं ले रही है।पहले ओलावृष्टि और बारिश ने फसलों को नुकसान पहुंचाया था, अब कीटों के अटैक से भी किसानों को भारी नुकसान झेलना पड़ सकता है।ऐसे में किसानों को सर्तक रखने के लिए एडवाइजरी जारी की गई है।

किसान जरूर पढ़ लें ये एडवाइजरी

उत्तर भारत के अन्य राज्यों की तरह अब मध्य प्रदेश में भी बारिश और ओलावृष्टि की मार किसानों पर पड़ी है।वहीं, बारिश का खतरा अभी टला भी नहीं है. मौसम विभाग ने राज्य में अगले 24 घंटे में एक बार फिर मौसम बदलने की संभावना व्यक्त की है।इस दौरान फसलों पर रस चूसक कीट अटैक कर सकते हैं। इससे सब्जी और फलों को भारी नुकसान हो सकता है।कृषि मौसम विस्तार अधिकारी ने इसको लेकर एडवाइजरी भी जारी की है, जिससे किसान सतर्क रह सकें।

तेज हवाएं चलेंगी

मौसम विभाग के मुताबिक,अगले 24 घंटे के दौरान मौसम में परिवर्तन होगा।आंधी-बारिश के साथ-साथ ओले भी गिरने की संभावनाएं हैं। 14 लेकर 18 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चल सकती हैं।इस मूंग सहित सब्जियों और फलों पर कीट और रोगों का प्रकोप एक साथ पड़ सकता है।

कीटों से फसल को ऐसे बचाएं

किसानों के लिए कीट के प्रकोप की पहचान करना मुश्किल होता है।इस स्थिति में किसान अधिक दवाओं का उपयोग करने लगते हैं।ऐसे में किसान खेत की निगरानी कर कीट की पहचान कर सही दवा का प्रयोग करें, तो फसल को काफी हद तक बचाया जा सकता है।किसान रस चूसने और काटने चबाने वाले कीटो के खिलाफ कृषि विभाग से संपर्क कर उनके द्वारा निर्देशित दवाओं का उपयोग कर सकते हैं।

क्या कहते हैं कृषि अधिकारी?

कृषि एवं मौसम विस्तार अधिकारी डॉ एसएस तोमर की मानें तो रस चूसक कीट फलों और सब्जियों को नुकसान करेगा।बार-बार हो रहे मौसम परिवर्तन के चलते अत्यधिक मात्रा में कीट फलों और सब्जियों पर अटैक करेंगे। इससे काफी नुकसान हो सकता है।मौसम में एक बार फिर परिवर्तन होगा अगले 24 घंटे में बदलाव होगा बादल छाने के साथ ही बारिश भी होगी।इसके अलावा आंधी-बारिश की स्थिति भी किसानों के सामने आ सकती है।


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By Harry
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नमस्ते! मेरा नाम "हरीश पाटीदार" है और मैं पाँच साल से खेती बाड़ी से जुड़ी हर प्रकार की जानकारी, अनुभव और ज्ञान मैं अपने लेखों के माध्यम से लोगों तक पहुँचाता हूँ। मैं विशेष रूप से प्राकृतिक फसलों की उचित देखभाल, जलवायु परिवर्तन के प्रभाव का सामना, और उचित उपयोगी तकनीकों पर आधारित लेख लिखने में विशेषज्ञ हूँ।