Paddy Variety: धान की यह 5 सुगंधित किस्में बढ़ाएंगी आपकी आय और देंगी बंपर पैदावार,जानिए किस्मों की विशेषताएं

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धान की खेती: धान की खेती सामान्यतःबारिश के मौसम में की जाती हैं, धान की फ़सल को समशीतोषण जलवायु की आवश्यकता होती हैं सामान्यतः औसतन 20°cसे 37°c तापमान की आवश्यकता होती हैं। धान की खेती के लिए दोमट मिट्टी उपयुक्त मानी जाती हैं। सुगंधित चावल(Aromatic Rice): चावल के प्रमुख प्रकारों में से एक है। यह एक मध्यम से लंबे दाने वाला चावल है। कृषि वैज्ञानिकों ने धान का उत्पादन बढ़ाने के लिए नई सुगंधित किस्में तैयार की है,चावल की इन किस्मों में कीट-रोग लगने की संभावना कम रहती है. कुछ जलवायु परिवर्तन के प्रति सहनशील भी हैं

बासमती चावल की प्रमुख किस्में हैं

basmati variety :बासमती 217, बासमती 370, टाइप 3 (देहरादूनी बासमती), पंजाब बासमती 1 (बउनी बासमती), पूसा बासमती 1, कस्तूरी, हरियाणा बासमती 1, माही सुगंधा, तरोरी बासमती (एचबीसी 19 / करनाल लोकल), रणबीर बासमती, बासमती 386, इम्प्रूव्ड पूसा बासमती 1 (पूसा 1460), पूसा बासमती 1121 (संशोधन के पश्चात्)

जानें निम्नलिखित 5 बेस्ट बासमती किस्में

Top Rice Varieties: वैज्ञानिकों ने देश में धान का उत्पादन के लिए कई सुगंधित और एडवांस किस्में विकसित की हैं. ये धान की म्यूटेंट वैरायटी हैं। इन किस्मों में कीट-रोगों के प्रकोप की संभावना भी कम ही रहती है।

★पूसा बासमती-6 (PUSA- 1401)

पूसा बासमती-6 : यह वैरायटी सिंचित अवस्था में बुआई के लिए उपयुक्त मानी गई है। ये धान की बौनी किस्म है,इसका दाना पकाने पर एक समान रहता है। इसमें सुगंध बहुत अच्छी आती है, ये किस्म प्रति हेक्टेयर 55–60 क्विंटल तक औसत पैदावार देती है।

★उन्नत पूसा बासमती-1 (PUSA- 1460)

पूसा बासमती-1: यह किस्म भी सिंचित अवस्था में बुवाई के लिए उपयुक्त है। यह किस्म 135 दिनों में पककर तैयार हो जाती है। यह झुलसा रोग के प्रतिरोधी होती है,पूसा बासमती-1 प्रति हेक्टेयर 50–55 क्विंटल उत्पादन देती है।

★पूसा बासमती- 1121

पूसा बासमती:धान की खेती वाले सभी इलाकों, सुगंधित किस्म पूसा बासमती- 1121 की बुवाई कर सकते हैं. ये धान की अगेती किस्म है, जिसका दाना लंबा, पतला और स्वादिष्ट होता है।ये वैरायटी 140–145 दिनों में पककर तैयार हो जाती है, यह प्रति हेक्टेयर में 40– 45 क्विंटल उत्पादन देती है।

★पूसा सुगंध- 5 (पूसा- 2511)

पूसा सुगंध- 5:ये किस्म पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, पश्चिमी उत्तर प्रदेश एवं जम्मू कश्मीर और सिंचित अवस्था में खेती के लिए उपयुक्त पाई गई है। इस सुगंधित किस्म का दाना अधिक लंबा होता है। यह किस्म 125 दिनों में पककर तैयार हो जाती है। इस किस्म से 60– 70 क्विंटल प्रति हेक्टेयर पैदावार मिलती है।

★पूसा सुगंध- 3

पूसा सुगंध- 3: ये किस्म सिंचित क्षेत्रों के लिए उपयुक्त है। इसका दाना लंबा, बारीक एवं सुगंधित है, यह किस्म पकने में मध्यम अगेती (125 दिन) तैयार हो जाती है। इस किस्म से 60–65 क्विंटल प्रति हेक्टेयर पैदावार मिल सकती है।


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By Harry
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नमस्ते! मेरा नाम "हरीश पाटीदार" है और मैं पाँच साल से खेती बाड़ी से जुड़ी हर प्रकार की जानकारी, अनुभव और ज्ञान मैं अपने लेखों के माध्यम से लोगों तक पहुँचाता हूँ। मैं विशेष रूप से प्राकृतिक फसलों की उचित देखभाल, जलवायु परिवर्तन के प्रभाव का सामना, और उचित उपयोगी तकनीकों पर आधारित लेख लिखने में विशेषज्ञ हूँ।